Pinaka Rocket Launcher को खरीदना चाहते हैं कई देश, आखिर क्या हैं इसकी खासियत

Pinaka Rocket |
भारत हथियार निर्यात में नित नए कीर्तिमान गढ़ रहा है. भारत के हथियार और दूसरे सैन्य उपकरण दुनिया के 100 देशों को सप्लाई किए जा रहे हैं. इनमें से एक हथियार दुनिया को कुछ ज्यादा ही पसंद आ रहा है, जिसका नाम पिनाका रॉकेट लॉन्चर है.
1999 के कारगिल युद्ध के दौरान भारतीय सेना ने पिनाका मार्क-1 version का इस्तेमाल किया था, जिसने पहाड़ की चोटियों पर तैनात पाकिस्तानी चौकियों को सटीकता के साथ निशाना बनाया था और युद्ध में दुश्मन को पीछे हटने के लिए मजबूर कर दिया था.भारत के पिनाका मल्टी बैरल रॉकेट लॉन्चर की मांग बढ़ती जा रही है. आर्मेनिया के बाद अब दक्षिण अमेरिका के दो देशों ने पिनाका की खरीद में रुचि दिखाई है. ऐसी संभावना है कि जल्द ही इन देशों को पिनाका की सप्लाई का रास्ता साफ हो सकता है.
भारत के पिनाका मल्टी बैरल रॉकेट लॉन्चर का फ्रांस भी evaluation कर रहा है. अगर evaluation सफल रहता है तो हो सकता है फ्रांस भी सीमित संख्या में पिनाका खरीदें. फ्रांस की गिनती दुनिया के सबसे बड़े हथियार निर्यातक देशों में होती है. भारत ने फ्रांस से ही राफेल लड़ाकू विमान खरीदा है. ऐसे में फ्रांस की पिनाका रॉकेट लॉन्चर का evaluation करना बड़ी बात कहीं जा सकती है.
इस मामले में फ्रांस की सेना के ब्रिगेडियर जनरल स्टीफन रिचौ ने कहा, “भारत और फ्रांस के बीच सैन्य सहयोग है. हम उपकरण साझा कर रहे हैं. हमारे लिए भारत एक रणनीतिक साझेदार है. हम पिनाका का evaluation कर रहे हैं. फ्रांस के ब्रिगेडियर जनरल रिचौ से पहले फ्रांसीसी सेना के सेनाध्यक्ष जनरल पियरे शिल ने फरवरी महीने में भारत का दौरा किया था. सेनाध्यक्ष ने पोखरण फील्ड फायरिंग रेंज में भारत के पिनाका मल्टीपल लॉन्च रॉकेट सिस्टम की ताकत देखी थी. उनकी मौजूदगी में राइजिंग सन आर्टिलरी ने पराक्रम का एक शानदार नजारा पेश किया था. भारत में निर्मित पिनाका हथियार प्रणाली का नाम भगवान शिव के धनुष के नाम पर रखा गया है.
DRDO ने विकसित किया है पिनाका रॉकेट
निजी और सार्वजनिक क्षेत्र की इकाइयों के साथ साझेदारी में डीआरडीओ द्वारा विकसित स्वदेशी हथियार प्रणालियों में पिनाका MBRL सफलता की कहानियों में से एक रही है. लॉन्चर वाहन टाटा समूह और लार्सन एंड टूब्रो द्वारा बनाए गए हैं, जबकि रॉकेट सोलर इंडस्ट्रीज और म्यूनिशंस इंडिया लिमिटेड द्वारा बनाए गए हैं.
क्या है पिनाका मल्टी बैरल रॉकेट लॉन्च सिस्टम?
पिनाका एक complete मल्टी बैरल रॉकेट लॉन्चर सिस्टम है. प्रत्येक पिनाका बैटरी में 6 लांचर वाहन होते हैं और प्रत्येक में 12 रॉकेट होते हैं. सिर्फ 44 सेकंड में सभी 12 रॉकेट फायर हो सकते हैं. इसमें कमांड पोस्ट, फायर कंट्रोल कंप्यूटर और DIGICORA MET रडार भी ट्रकों पर ही माउंट होते हैं. यह दुर्गम इलाकों में भी तेजी से मूव कर सकता है, जो इसे युद्ध के मैदान में बेहद प्रभावी बनाता है. पिनाका के 6 लांचरों की एक बैटरी 1000 मीटर × 800 मीटर के क्षेत्र को पूरी तरह से बर्बाद कर सकती है.
सेना आमतौर पर एक बैटरी तैनात करती है जिसमें कुल 72 रॉकेट होते हैं. इस रॉकेट के दो वर्जन (PINAKA Mk-I और PINAKA Mk-II) है. रॉकेट को 8×8 वाहन पर बने लॉन्चर में रखा जाता है. पिनाका रॉकेट में 100 किग्रा से 250 किग्रा तक विस्फोटक होता है. पिनाका गाइडेड रॉकेट है. इसे सिग्मा 30 आर्टिलरी नेविगेशन और पॉइंटिंग सिस्टम से गाइडेंस मिलती है जिससे यह सटीक वार करता है.
सिग्मा 30 लेजर गायरो लैंड नेविगेशन तकनीक पर आधारित है. इसे विशेष रूप से आर्टिलरी और रॉकेट लॉन्चर द्वारा वारहेड रॉकेट की सटीक फायरिंग के लिए डिजाइन किया गया है. यह रॉकेट सिस्टम अपने कई वैरिएंट के साथ 75 किलोमीटर और उससे भी आगे के लक्ष्यों को भेद सकता है.
पिनाका की रेंज बढ़ाने पर हो रहा काम
रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (DRDO) भी ऐसे रॉकेट विकसित कर रहा है जो 120 किलोमीटर और 200 किलोमीटर की दूरी पर लक्ष्य पर वार करने में सक्षम होंगे. बड़ी बात यह है कि भारत को पहले ही आर्मेनिया इसका ऑर्डर दे चुका है. इसके अलावा कई अन्य देश इसमें रुचि दिखा रहे हैं. इस कड़ी में अब फ्रांस का नाम भी जुड़ गया है.
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