AARGM-ER:  दुश्मन के रडार को मिटाने वाली अमेरिका की नई ‘स्मार्ट मिसाइल’

AARGM-ER: “Strike first” क्षमता के साथ उन्नत एंटी-रेडिएशन मिसाइल

Advanced Anti-Radiation Guided Missile — Extended Range (AARGM-ER) एक उन्नत एंटी-रेडिएशन मिसाइल है जो रडार-आधारित वायु रक्षा तंत्रों को लंबी दूरी से पहचान कर नष्ट करने के लिए विकसित की गई है. बढ़ी हुई रेंज, तेज़ उड़ान प्रोफ़ाइल, टारगेट-आधारित आत्म-निर्णय और ग्राउंड-साइड में सरलीकृत इंटीग्रेशन के साथ AARGM-ER विमानों को “strike first with unmatched capability” की क्षमता प्रदान करती है — यानी दुश्मन के रडार को निशाना बनाकर पहले प्रहार करना अब और अधिक प्रभावी व सुरक्षित होगा.

AARGM-ER -क्या नया और क्यों अहम है?

AARGM-ER मौजूदा AARGM परिवार की उन्नत किस्त है. इसमें मुख्य सुधार हैं: विस्तारित रेंज, बेहतर प्रोपल्शन और अधिक परिष्कृत टर्मिनल-हॉमिंग/मैन्यूवरिंग क्षमताएँ. यह मिसाइल उन स्थितियों में विशेष रूप से प्रभावी होगी जहाँ दुश्मन के रडार और सर्फेस-टू-एयर मिसाइल नेटवर्क विमानन संचालन को जोखिम में डालते हैं.

नया AARGM-ER प्लेटफ़ॉर्म-आधारित समेकन (streamlined missile integration on the ground) पर भी जोर देता है — यानी मेटल-वर्क/इलेक्ट्रिकल कनेक्शन्स, टेस्ट-प्रोसीजर और तैनाती-तैयारी को सरल बनाकर मिसाइलों को कम समय में हथियार-पोड पर तैयार किया जा सकेगा. इससे ऑपरेशनल टेम्पलेट तेज़ होंगे और एयर ऑपरेशन्स की लचीलापन बढ़ेगी.

AARGM-ER -तकनीकी और ऑपरेशनल

Extended Range: AARGM-ER का डिजाइन दुश्मन एमीटर-नेटवर्क से और दूर से निपटने की क्षमता देता है — जिससे विमानों को निकट सीमा में आने की ज़रूरत कम होती है.

त्वरित गति और सर्वाइवेबिलिटी: नए एयरफ्रेम और प्रणोदन विकल्प मिसाइल की गति व उत्तरजीविता दोनों बढ़ाते हैं, जिससे विरोधी इंटरसेप्शन का खतरा घटता है.

इंप्रूव्ड टारगेटिंग: उन्नत सेंसिंग और सॉफ्टवेयर-लॉजिक इमिटर-शटडाउन जैसी काउंटर-टैक्टिक्स का मुकाबला करने में मदद करती हैं.

प्लेटफ़ॉर्म कम्पैटिबिलिटी: AARGM-परिवार पर आधारित होने के कारण इसे F/A-18, EA-18G, F-35 जैसे मौजूदा प्लेटफ़ॉर्मों पर इंटीग्रेट करने के प्रयास तेज़ हैं.

ग्राउंड-साइड इंटीग्रेशन: स्ट्रीमलाइन्ड इंटीग्रेशन से फील्ड-इक्वीपमेंट और री-आर्मिंग टाइम कम होंगे — तेज़ तैनाती का सीधा फायदा.

रणनीतिक और सामरिक प्रभाव

AARGM-ER जैसे हथियार SEAD (Suppression of Enemy Air Defenses) और DEAD (Destruction of Enemy Air Defenses) अभियानों में खेल बदल सकते हैं:

प्रथम-प्रहार की क्षमता: लंबी रेंज और सटीकता की वजह से फ्रेंडली एयर यूनिट्स दुश्मन रडार-नेटवर्क को पहले नष्ट कर पाएंगे, जिससे आगे के हवाई अभियान सुरक्षित होंगे.

ऑपरेशनल लचीलापन: विमानों को कम रिस्क पर मिशन पूरा करने की स्वतंत्रता मिलती है — एयर सुपरियोरिटी और संरक्षित प्रवेश दोनों हासिल करना आसान होगा.

रडार-शटडाउन की उपयोगिता घटेगी: पारंपरिक तरीका — रडार बंद कर के बचना — अब उतना कारगर नहीं रहेगा, क्योंकि AARGM-ER की सेंसिंग लॉजिक शटडाउन-टैक्टिक्स का जवाब देने के लिए डिज़ाइन की गयी है.

साझेदारी और निर्यात उपयुक्तता: ऐसे हथियार सहयोगी देशों के साथ साझा किए जा सकते हैं, जिससे गठबंधन-स्तर पर SEAD क्षमताओं का समन्वय बेहतर होगा.

चुनौतियाँ और विचारणीय पहलू

हर नई प्रणाली की तरह AARGM-ER के सामने भी चुनौतियां हैं: परीक्षण-प्रमाणिकता, विमान-इंटीग्रेशन की जटिलताएँ, और ऑपरेशनल नियम (ROE) व अंतरराष्ट्रीय संघर्ष-नीति से जुड़े राजनीतिक पहलू. इसके अलावा उच्च-स्तरीय इलेक्ट्रॉनिक युद्ध वातावरण में व्यवहारिक दक्षता की जाँच भी निर्णायक होगी.

AARGM-ER आधुनिक वायु युद्ध के परिदृश्य में SEAD/DEAD मिशनों के लिए एक महत्वपूर्ण उन्नयन है. इसकी बढ़ी हुई रेंज, गति और सर्वाइवेबिलिटी साथ ही ग्राउंड-साइड पर सरल इंटीग्रेशन इसे “strike first with unmatched capability” का एक सशक्त साधन बनाती हैं. यदि परीक्षण-चक्र और इंटीग्रेशन सफल रहे, तो यह मिसाइल भविष्य के हवाई अभियानों में निर्णायक भूमिका निभा सकती है — और रडार-केंद्रित वायु रक्षा तंत्रों के खिलाफ अंतरराष्ट्रीय सामरिक संतुलन पर प्रभाव डाल सकती है.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *